
केरल में बढ़ रहे है 'ब्रेन ईटिंग अमीबा' के मामले (फोटो साभार: NDTV)
केरल के कुछ क्षेत्रों में एक गंभीर संक्रामक रोग के खतरे ने दस्तक दी है। राज्य में पिछले कुछ दिनों में एक जानलेवा संक्रमण के कई मामले दर्ज किये गए है। दरअसल, अमीबिक मेनिंगोएन्सेफलाइटिस नामक एक दुर्लभ और जानलेवा मस्तिष्क संक्रमण केरल राज्य में एक गंभीर खतरा बनकर उभरा है। इस बीमारी को आम भाषा में ‘ब्रेन ईटिंग अमीबा’ कहा जाता है।
जानकारी के अनुसार, राज्य में अब तक इस संक्रमण के 42 मामले सामने आ चुके हैं और 3 मरीजों की मौत हो चुकी है। रविवार (29 अगस्त 2025) को कोझिकोड मेडिकल कॉलेज अस्पताल में इलाज के दौरान हाल ही में 3 महीने के एक बच्चे और 52 साल की एक महिला की मौत हो गई। उत्तरी केरल के कई हिस्सों में बढ़ते इस खतरनाक रोग को लेकर स्वास्थ्य विभाग ने अलर्ट जारी किया है।
गौरतलब है, कि केरल में पहले भी इस संक्रमण मामले देखे गए हैं। पिछले साल भी केरल के कई जिलों में इस संक्रमण के मामले रिपोर्ट किए गए थे। स्वास्थ्य अधिकारियों ने स्थानीय निवासियों को बचाव के तरीकों का गंभीरता से पालन करते रहने की सलाह दी है। वहीं स्वास्थ्य विभाग ने कुओं और पानी के टैंकों को साफ करने का काम शुरू कर दिया है। साथ ही लोगों को जागरूक करने के लिए अभियान भी चलाए जा रहे हैं।
रिपोर्ट्स के अनुसार, इससे पहले 14 अगस्त 2025 को थमारस्सेरी के 9 साल के एक बच्चे की भी इस बीमारी से मौत हुई थी। वहीं पिछले साल (2024) में इस बीमारी के 36 मामले और 9 मौतें दर्ज की गई थी। यह सूक्ष्मजीव आम तौर पर गर्म और मीठे पानी के स्रोतों में पाया जाता है, जैसे तालाब, झील, कुएँ, नदियाँ और गंदे स्विमिंग पूल में इसकी मौजूदगी दर्ज की गई है।
बताया जा रहा है, कि यह बीमारी अमीबिक मेनिंगोएन्सेफलाइटिस नाम के संक्रमण से फैलती है, जो पानी में पाए जाने वाले अमीबा प्रजाति के कारण होता है। यह संक्रमण दिमाग को प्रभावित करता है और अधिकतर मामलों में यह उन लोगों में देखा जाता है, जो ठहरे हुए पानी में नहाते या तैरते हैं। यह अमीबा शरीर में नाक के रास्ते प्रवेश करता है और फिर दिमाग तक पहुँचता है।