
पंचकूला सुसाइड केस
हरियाणा के पंचकूला सेक्टर 27 में विचलित कर देने वाली घटना में बीते रोज एक ही परिवार के सात सदस्यों ने आत्महत्या कर ली थी। बताया जा रहा है, कि सामूहिक आत्महत्या करने वाला परिवार देहरादून में भी काफी समय तक रहा था। यहां प्रवीण मित्तल द्वारा एक एनजीओ चलाने की सूचना सामने आई है।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, मित्तल परिवार देहरादून में किराए के मकानों में अलग-अलग जगहों पर रहा। मृतक परिवार तीन साल पहले देहरादून के कौलागढ़ में किराए पर रहता था और उसके बाद नींबूवाला में किराए पर रहा। देहरादून के अलग-अलग स्थानों पर रहने के बाद लगभग एक साल पहले परिवार पंचकूला चला गया था।
एसएपी अजय सिंह ने बताया, कि परिवार के संबंध में जानकारी करने पर ज्ञात हुआ, कि मृतक प्रवीण मित्तल पुत्र देशराज मित्तल का परिवार लगभग एक साल पहले तक कौलागढ़ देहरादून में किराए पर निवास करता था। जांच में सामने आया है, कि परिवार मूल रूप से पंजाब का रहने वाला है, लेकिन व्यापार में नुकसान होने के कारण मित्तल परिवार देहरादून शिफ्ट हो गया।
पुलिस के अनुसार, जिस कार में परिवार के सदस्य मृत पाए गए हैं, वह देहरादून नंबर की थी। कार प्रवीण के दोस्त मालदेवता निवासी गंभीर सिंह नेगी के नाम पर है। गंभीर सिंह नेगी का परिचय प्रवीण मित्तल से उनके एनजीओ में काम करते वक्त हुआ था।
इस दौरान दोनों के बीच अच्छी दोस्ती हो गई। गंभीर सिंह नेगी के अनुसार, एक बार प्रवीण मित्तल ने उनसे कहा था, कि वह उनके नाम पर एक कार लेना चाहते हैं। इस पर गंभीर सिंह नेगी ने भी सहमति जताते हुए फाइनेंस के जरिये अपने नाम पर कार खरीद ली। उन्होंने बताया, कि वर्ष 2021 से प्रवीण मित्तल इस कार को इस्तेमाल कर रहे थे।
कौलागढ़ में मित्तल परिवार के पड़ोसी रहे लोगो का कहना है, कि परिवार बेहद मिलनसार था। परिवार के लोग पड़ोस में सभी के साथ अच्छे संबंध रखते थे। किसी से उनका विवाद नहीं होता था। हमें अब भी यकीन नहीं हो रहा है, कि मित्तल परिवार इस तरह का खौफनाक कदम उठा सकता है। उन्होंने यह मकान नौ हजार रुपये महीने किराये पर लिया था।
पड़ोसियों के मुताबिक, मित्तल परिवार जब कौलागढ़ से किराये के मकान को छोड़कर जा रहे थे, तो उन्होंने बताया था, कि मकान का किराया बढ़ाए जाने के कारण वो नींबूवाला में किराये पर मकान ले रहे हैं। हालांकि, मकान छोड़ने के बाद पड़ोसियों का मित्तल परिवार से कोई संपर्क नहीं हुआ।
पंचकूला पुलिस के अनुसार, कर्ज के बोझ तले मित्तल परिवार की सामूहिक आत्महत्या के पीछे अभी तक कोई ठोस वजह सामने नहीं आई है और ना ही उनके परिजन अब तक सामने आए हैं। डीसीपी के अनुसार, प्रथम दृष्टया मामला खुदखुशी का लग रहा है। सभी एक ही परिवार के सदस्य हैं। पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद आगे की जांच की जाएगी।
मृतकों की पहचान प्रवीण मित्तल, उनके पिता देशराज मित्तल, मां और पत्नी समेत तीन बच्चों (दो बेटियां और एक बेटा) के रूप में हुई है। वहीं कुछ मीडिया रिपोर्ट्स में बताया जा रहा है, कि प्रवीण मित्तल को बिजनेस में काफी घाटा हुआ और कर्ज में डूबे होने के कारण इस परिवार ने सामूहिक रूप से आत्महत्या कर ली।