विनय त्यागी हत्याकांड की जांच के लिए SIT गठित
पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कुख्यात गैंगस्टर विनय त्यागी के 35 साल के आपराधिक जीवन का अंत हो गया है। पुलिस एनकाउंटर और फिर एम्स अस्पताल में उपचार के दौरान उसकी मौत के बाद नए-नए खुलासे हो रहे है। बता दें, कि विनय त्यागी के विरुद्ध उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड और दिल्ली में 57 से अधिक मुकदमें दर्ज है, जिनमें कत्ल के 12 मामले थे।
आशंका जताई जा रही है, कि विनय त्यागी किसी पुराने मामले में बयान देने वाला था, या फिर किसी बड़े नेटवर्क के विरुद्ध खुलासे की स्थिति में आ गया था। घटना के तरीके ने भी संदेह को और गहराया है। विनय त्यागी के अंत के साथ ही उसकी करीब 750 करोड़ की बेनामी संपत्ति, जेल अभिरक्षा में हमले से जुड़े दावों को लेकर तमाम गंभीर सवाल खड़े हो रहे हैं।
इस घटनाक्रम में शुरू से लेकर अंत तक पुलिस सुरक्षा और कानून व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े हो गए है। इसी क्रम में गैंगस्टर विनय त्यागी गोलीकांड की निष्पक्ष जांच के लिए एसएसपी हरिद्वार द्वारा SIT (स्पेशल इंवेस्टिगेशन टीम) का गठन किया है। सिटी सर्किल ऑफिसर (हरिद्वार) के अगुवाई में गठित SIT हर एंगल से घटना की गहन जांच करेगी।
पश्चिमी यूपी में भय और आतंक का पर्याय बन चुके विनय त्यागी मर्डर केस की जांच का दायित्व सिटी सर्किल ऑफिसर (हरिद्वार) शिशुपाल सिंह नेगी को सौंपा गया है। एसआईटी घटना से जुड़ी सभी परिस्थितियों, तथ्यों और सबूतों की सूक्षम्ता से जांच करेगी और तय वक्त के भीतर जांच रिपोर्ट सौंपेगी।
एसएसपी प्रमेंद्र सिंह डोबाल ने बताया, कि जांच पूर्ण रूप से निष्पक्ष और पारदर्शी प्रक्रिया से की जाएगी, ताकि किसी भी प्रकार की शंका का समाधान हो सके। उन्होंने कहा, कि SIT का गठन जनविश्वास बनाए रखने और पूरे घटनाक्रम की निष्पक्ष जांच के उद्देश्य से किया गया है। जांच के दौरान यदि किसी भी स्तर पर लापरवाही सामने आई, तो सख्त कार्रवाई की जाएगी।
बता दें, कि बीते 24 दिसंबर को गैंगस्टर विनय त्यागी को रुड़की जेल से लक्सर कोर्ट पेशी के लिए ले जाया जा रहा था। इस दौरान लक्सर-हरिद्वार हाईवे पर ओवर ब्रिज के पास बाइक सवार शूटरों ने पुलिस वाहन में अंधाधुंध फायरिंग कर दी थी। इस जानलेवा हमले में विनय त्यागी को तीन गोलियां लगी। वारदात को अंजाम देने के बाद शूटर फरार हो गए थे।
इस घटना के बाद पुलिस ने घेराबंदी करते हुए 25 दिसंबर को फरार दोनों आरोपियों को खानपुर थाना क्षेत्र के गांव सिकंदरपुर के जंगल, बिजनौर हाईवे से गिरफ्तार किया। पुलिस ने दोनों आरोपियों की पहचान सन्नी यादव उर्फ शेरा और अजय पुत्र कुंवर सैन दोनों निवासी काशीपुर के रूप में की है।
पुलिस के मुताबिक, दोनों अपराधी हार्डकोर क्रिमिनल हैं और उनपर कई आपराधिक मुकदमे दर्ज हैं। पुलिस पूछताछ में सामने आया, कि रुपयों के लेन-देन को लेकर सन्नी की विनय त्यागी से रंजिश थी और रंजिश के चलते ही उसने अजय के साथ मिलकर विनय त्यागी को गोली मार दी थी।
वहीं विनय त्यागी के परिजनो को पुलिस की कहानी पर यकीन नहीं है। ऋषिकेश में परिजनों ने ईडी और 750 करोड़ रुपए की ब्लैक मनी को हत्या का कारण बताया था। हालांकि रकम को लेकर खुलासा नहीं हो सका है। वहीं सोशल मीडिया पर भी दावा किया जा रहा है, कि यदि मामले की जांच गंभीरता से हुई तो कई चेहरे बेनकाब हो सकते हैं।
