
रिपब्लिक भारत न्यूज़ चैनल के तेजतर्रार पत्रकार अर्नब गोस्वामी द्वारा रविवार को इस बात का खुलासा किया है कि मुंबई के पुलिस कमिश्नर परमवीर सिंह ने रिपब्लिक चैनल को लेकर असत्य कहने का आरोप लगाया है।
पत्रकार अर्नब गोस्वामी को ब्रॉडकास्ट ऑडियंस रिसर्च काउंसिल ऑफ इंडिया द्वारा प्राप्त इमेल्स के इमेल्स के जरिये ये दावा किया है कि ईमेल में कहा है कि मुंबई पुलिस द्वारा दर्ज FIR में इंडिया टुडे का नाम था ना कि रिपब्लिक भारत और इसी के सम्बन्ध में षंडयंत्र का खुलासा करने के लिए ‘रिपब्लिक’ ने इन इमेल्स को जारी किया है।
वही दूसरी बिहार के आगामी विधानसभा चुनावों कि रिपोर्टिंग करने के लिए पटना गए रिपब्लिक भारत के रिपोर्टर प्रदीप भंडारी को न्यायलय द्वारा नोटिस मिलने के बाद उन्हें वापस मुंबई आना पड़ा। एडिटर प्रदीप भंडारी से लम्बी पूछताछ करने के बाद मुंबई पुलिस ने उन्हें रविवार को पुलिस स्टेशन से रिहा कर दिया।
जानकारी के अनुसार रिपोर्टर प्रदीप भंडारी को अपने अधिवक्ता से मिलने से रोका गया। इसके अलावा पत्रकार प्रदीप भंडारी से उनका मोबाइल भी ले लिया गया है और उन्हें अपने परिवार से भी बात नहीं करने दिया।
रिपब्लिक भारत न्यूज़ चैनल के अपनी खबर में बताया कि तक़रीबन कई पुलिस वालो द्वारा प्रदीप भंडारी को चारो तरफ से घेर लिया तथा उनके साथ थाने में मारपीट भी की गई।
गौरतलब है कि मुंबई पुलिस ने एक बार फिर रिपोर्टर प्रदीप भंडारी को नोटिस जारी कर उन्हें 22 अक्टूबर को 4 बजे तक न्यायलय में उपस्थित होने का आदेश दिया था। पत्रकार प्रदीप भंडारी द्वारा मुंबई पुलिस कमिश्नर को उनके पुलिस की वर्दी का सम्मान नहीं करने के लिए लताड़ा था।
रिपोर्टर प्रदीप भंडारी ने यह भी कहा कि मुंबई पुलिस उन्हें हिरासत में लेने के कोशिश में है और मुंबई में उनके खिलाफ गैर-जमानती धाराओं के तहत आरोप दायर करने की योजना बना रही है।